Premier Energies Waaree Energies Share Price Fall, 23 मई 2025: प्रीमियर एनर्जीज लिमिटेड और वारी एनर्जीज लिमिटेड के शेयरों में शुक्रवार, 23 मई को बाजार खुलते ही 5% और 10% तक की गिरावट आई, भारतीय कम्पनियों में यह गिरावट ट्रंप सरकार के नए टैक्स बिल के कारण आई है ऐसा विश्लेषकों का मानना है, क्योंकि वॉल स्ट्रीट पर रात भर के कारोबारी सत्र में सौर और स्वच्छ ऊर्जा क्षेत्र की उनकी समकक्ष कंपनियों को भारी नुकसान उठाना पड़ा।
अमेरिका के ट्रंप सरकार ने हाल ही में अपना नए टैक्स बिल लाया, जिसके नियमों ने ग्रीन एनर्जी सेक्टर को तगड़ा झटका दिया है। इस बिल के चपेट में सिर्फ अमेरिकी ग्रीन एनर्जी कंपनियां ही नहीं आई, बल्कि भारत की भी बड़ी ग्रीन एनर्जी कंपनियां जैसे वारी एनर्जीज और प्रीमियर एनर्जीज भी इसकी चपेट में आ गई हैं।
सब्सिडी खत्म होने की आशंका से गिरे वारी एनर्जीज और प्रीमियर एनर्जीज के शेयर
शुक्रवार, 23 मई को भारतीय शेयर बाजार का ट्रेडिंग सत्र शुरू होते ही महज एक घंटे के भीतर वारी एनर्जीज के शेयर 10% टूटकर ₹2,670 पर आ गए और वहीं प्रीमियर एनर्जीज के शेयर भी 5% टूटकर ₹1,023 पर पहुंचे। हालांकि बाद में दोनों ग्रीन एनर्जी के शेयरों में थोड़ी रिकवरी आई और अब ये शेयर क्रमशः 6% और 2.5% की गिरावट के आस पास ट्रेड कर रहे हैं। दोनों शेयरों में यह गिरावट विश्लेषक सीधे अमेरिका के नए टैक्स बिल से जुड़ी मानी जा रही है, जिसमें बिडेन सरकार के समय ग्रीन एनर्जी या रिन्यूएबल एनर्जी सेक्टर से जुड़ी कंपनियों को दी जा रही स्वच्छ ऊर्जा सब्सिडी को खत्म करने का प्रस्ताव रखा गया है।
बिल में आगे नहीं दी जाएगी सब्सिडी
अमेरिका की मौजूदा ट्रंप सरकार ने इस नए टैक्स बिल में साफ तौर पर कहा है कि, अब आगे से अमेरिका में इलेक्ट्रिक गाड़ियों और सोलर रूफटॉप सिस्टम पर मिलने वाला 30% टैक्स क्रेडिट, नहीं दिया जाएगा। इसके अलावा, पवन और सौर ऊर्जा पर चल रही कई योजनाओं की फंडिंग भी इस बिल के तहत ट्रंप सरकार ने रोकने की सिफारिश की है। इस नए बिल के चलते, अमेरिका की सबसे बड़ी रूफटॉप सोलर कंपनी Sunrun और पवन-सौर डेवलपर NextEra Energy के शेयर भी गुरुवार को 7% से लेकर 37% तक गिर गए।
Premier Energies और Waaree Energies सबसे ज्यादा है निर्यात पर निर्भर
इस बिल की वजह से ना केवल अमेरिकी ग्रीन एनर्जी कंपनियां परेशान नहीं हैं, बल्की भारतीय कंपनियां इसलिए भी परेशान हैं और भारतीय ग्रीन एनर्जी कंपनियां इसलिए भी परेशान हैं। क्योंकि Waaree Energies जैसे कंपनियों का बड़ा हिस्सा निर्यात पर टिका हुआ है। वारी एनर्जीज की ऑर्डर बुक FY26 की पहली तिमाही में ₹47,000 करोड़ की थी, जिसमें से 57% ऑर्डर विदेशों से थे। और उसमें भी प्रमुख ऑर्डर बुक अमेरिका से था।
अब सबकी नजर अमेरिका की सीनेट पर है, जहां यह बिल पास होगा या नहीं – यही तय करेगा कि आगे ग्रीन एनर्जी सेक्टर की दिशा क्या होगी।
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अगर आप भी ग्रीन एनर्जी में निवेश करते हैं, तो फिलहाल सतर्क रहना ही समझदारी होगी। क्योंकि यदी यह बिल पास हो गया तो, ग्रीन एनर्जी शेयरों में और गिरावट आ सकती है। खास कर उन ग्रीन एनर्जी कंपनी के शेयरों में जो सबसे ज्यादा निर्यात अमेरिका को करते हैं जैसे Premier Energies और Waaree Energies।
Source: Premier, Waaree Energies shares fall as US peers tank after Trump Tax Bill